आज  के दिन 1 फरवरी को, बसंत पंचमी के दिन सरस्वती पूजा है. ऐसे में अगर आप शुभ मुहूर्त में मां सरस्वती की पूजा करते हैं तो आपको विद्या, ज्ञान और बुद्ध‍ि का प्रसाद जरूर प्राप्त होगा.
कल है सरस्वती पूजा, इसी दिन हुआ था मां का जन्म, जानें कहानी…

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बसंत पंचमी पूजा का मुहूर्त
सुबह 7:17 बजे से 10:04 बजे तक
सुबह 11:28 बजे से 12:50 बजे तक

बसंत पंचमी के दिन मां सरस्वती की पूजा विधि विधान से की जाती है, मां सरस्वती, ज्ञान-विज्ञान, कला, संगीत और शिल्प की देवी हैं अज्ञानता के अंधकार को दूर करने के लिए और जीवन में नया उत्साह प्राप्त करने के लिए, बसंत पंचमी के दिन देवी सरस्वती की उपासना पूरे देश में की जाती है, स्कूलों में सरस्वती पूजा का आयोजन किया जाता है.

मां सरस्वती की पूजा विधि
सुबह स्नान करके पीले या सफेद वस्त्र धारण करें, मां सरस्वती की मूर्ति या चित्र उत्तर-पूर्व दिशा में स्थापित करें, मां सरस्वती को सफेद चंदन, पीले और सफेद फूल अर्पित करें. मां सरस्वती का ध्यान करें. वंदना करें. “ऊं ऐं सरस्वत्यै नम:” मंत्र का 108 बार जाप करें. मां सरस्वती की आरती करें, मिसरी, दूध, दही, तुलसी, शहद मिलाकर पंचामृत का प्रसाद बनाकर मां को भोग लगाएं. हलवा या केसर युक्त खीर का प्रसाद अर्पित करें. सभी को प्रसाद बांटें.

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बुद्धि व ज्ञान देने वाली मां सरस्वती की आरती

अबूझ मुहूर्त
ज्योतिष के अनुसार बसंत पंचमी का दिन सभी शुभ कार्यों के लिए उपयुक्त माना जाता है बसंत पंचमी का दिन अबूझ मुहूर्त के नाम से भी जाना जाता है. यानी इस दिन किसी कार्य के लिए कोई मुहूर्त देखने की जरूरत नही है. बसंत पंचमी के दिन कोई भी नया काम शुरु किया जा सकता है.

यदि कुंडली में बुध ग्रह कमजोर हो या पढ़ाई में मन ना लगे
ज्योतिष के अनुसार जिनकी कुंडली में बुध ग्रह कमजोर हो या अस्त हो या बच्चे का पढ़ाई में मन ना लगे तो बसंत पंचमी के दिन मां सरस्वती का पूजन करना चाहिए और मां सरस्वती को हरे फल आर्पित करके कम से कम 11 गरीबों को अवश्य बांटना चाहिए.