विक्रमशिला सेतु पर मरम्मत के 13वें दिन बुधवार को पुल के पाया संख्या दो और तीन के नीचे कार्बन प्लेट चिपकाने और दरारों में ग्राउंटिंग भरने का कार्य हुआ। दोनों एक्सपेंशन ज्वाइंट पर ढलाई को जमाने के लिए हर घंटे पानी का छिड़काव किया गया। दोनों एक्सपेंशन ज्वाइंट पर 8 अक्टूबर को ढलाई किया गया है। अब साइकिल सवार आराम से सेतु पर आ जा रहे हैं। केला व्यापारियों को भी राहत मिली है। दूध व्यापारी भी साइकिल पर सवार हो कर एक्सपेंशन ज्वाइंट पार कर रहे हैं।

हालांकि दोनों एक्सपेंशन ज्वाइंट पर कंक्रीट ढलाई के बाद उसका खास ख्याल रखा जा रहा है। अब तक पाया संख्या दो और तीन के नीचे कार्बन प्लेट चिपकाने और दरारों में ग्राउंटिंग भरने का कार्य 90 फीसदी पूरा कर लिया गया। मंगलवार को यह 70 प्रतिशत था। अब पाया संख्या चार पर बॉल-बियरिंग बदलने का कार्य होगा। उसके पहले पाया संख्या दो और पाया संख्या तीन के दो-दो बॉल-बियरिंग निकाल कर बदले जा चुके हैं। सेतु में कुल छह बॉल-बियरिंग लगने है, जिसमें चार बदली हो चुके हैं। सेतु को शुरू होने में सिर्फ एक्सपेंशन ज्वाइंट पर ढलाई के जमने का इंतजार रह जाएगा।

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दूध व्यापारी और केला व्यापारियों को मिली राहत, आसानी से वजन लेकर हो रहे पार

15 तक शुरू हो जाएगा सेतु तो गंगा पार के लोगों को होगी आसानी

दुर्गापूजा की नौवीं 18 और दसवीं 19 अक्टूबर को है। अगर सेतु 15 अक्टूबर तक शुरू हो जाता है तो गंगा पार के लोग के पास तीन दिन हाथ में रहेंगे और वे भागलपुर आकर दुर्गापूजा की खरीदारी आराम से कर सकेंगे। गंगा पार से आ रहे विनोद मंडल ने बताया कि इस बार बच्चों की जिद थी कि दुर्गापूजा की खरीदारी भागलपुर में करेंगे, लेकिन ऐसा होता दिखाई नहीं दे रहा है। अगर 15 अक्टूबर तक सेतु शुरू हो जाएगा तो बच्चों को भागलपुर खरीदारी के लिए जरूर लाएंगे।

सेतु पर ऑटो चालक ने मचा रखा है अफरातफरी का माहौल

पुल बंद होने बाद बड़े वाहनों को रोकने के लिए सेतु के दोनों तरफ बेरिकेड्स लगाए हैं। सिर्फ ऑटो चालक ही मरम्मत कार्य के पहले तक जाकर सवारी बैठा सकते हैं, लेकिन इन दिनों ऑटो चालकों ने सेतु पर ऐसा कब्जा जमा लिया है कि लोगों का पैदल चलना भी दुश्वार हो गया है। दूसरी ओर पुल पर सैकड़ों बाइक पार्किंग की तरह खड़ी होने से भी आवागमन में लोगों को परेशानी हो रही है।

पुल पर बुधवार को मरम्मत का कार्य करते मजदूर।

सब्जी व्यापारियों को 200 रुपए प्रति क्विंटल हुआ घाटा

सेतु पर मरम्मत के बाद से सब्जी व्यापरियों को इन 13 दिन में लाखों का घटा सहना पड़ा। गंगा पार से शहर में काफी मात्रा में सब्जी आती है। कुरसेला के सब्जी व्यापारी रंजीत मंडल ने बताया कि में बैंगन का व्यापार करता हूं। बैंगन के व्यापार में मरम्मत कार्य के बाद से प्रति 200 रुपए क्विंटल घाटा लग रहा है। यह घाटा सिर्फ भाड़ा के कारण हो रहा है। दो जगहों पर उतार-चढ़ाव के कारण बहुत परेशानी हो रही है।