सड़क हादसे में जयरामपुर निवासी विजय सिंह व उनकी बेटी पुत्री प्रियंका कुमारी की माैत के बाद गांव में माहाैल गमगीन हाे गया। परिजनाें का राे-राेकर बुरा हाल था। प्रियंका की मां रेखा देवी पति व बेटी की मौत से बदहवास हाे गयी। वह बार-बार बेहोश हो रही थी। पड़ोस की महिलाएं उसे सांत्वना दे रही थीं। होश आने पर वह कह रही थी कि मेरी दुनिया उजड़ गई। बेटी को अफसर बनाने का सपना अधूरा रह गया। वह बार-बार पति और बेटी को देखने की जिद कर रही थी। वह कह रही थी कि अब दो छोटे-छोटे बच्चों की परवरिश कौन करेगा। विजय सिंह के बूढ़े पिता परमानंद सिंह के आंखों के आंसू सूख गए हैं। उन्हें देखकर ग्रामीणों के आंखों में भी आंसू आ गए।

मां बाेली-अधूरा रह गया बेटी को अफसर बनाने का सपना

विक्रमशिला पहुंच पथ पर यातायात टीअोपी के पास शनिवार दोपहर बेलगाम ट्रक से कुचले जाने के बाद मारवाड़ी काॅलेज में बीए पार्ट वन की छात्रा प्रियंका (19) की माैके पर ही माैत हाे गयी। पिता के साथ बाइक में पीछे बैठी प्रियंका अगर हेलमेट पहनी रहती तो उसकी जान बच जाती।

डॉक्टरों के मुताबिक, प्रियंका के सिर में गंभीर चोट अाई थी। अगर वह हेलमेट पहनी रहती तो सिर में चोट लगने की अाशंका कम होती अौर जान जाने का खतरा नहीं रहता। पिता ने हेलमेट पहन रखा था, इस कारण उनके सिर में ज्यादा चोट नहीं अाई थी, लेकिन कमर के नीचे का हिस्सा कुचल गया था। घायल विजय सिंह काे डॉक्टरों ने हायर सेंटर रेफर कर दिया था, लेकिन बाहर लेकर जाने से पहले ही उनकी माैत हाे गई।

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