नवगछिया : नोटबंदी के बाद एक बार फिर नवगछिया सहित आस पास के इलाके में कैश की किल्ल्त से लोग परेशान दिखे. कैश की किल्लत से नवगछिया सहित आस पास के बाजारों में मंदी देखी गयी. कैश की किल्लत से सिर्फ बड़े दुकानदारों, व्यवसायिक संस्थानों के साथ फुटकर विक्रेताओं यथा भूजा वाले, चाय वाले, चाट वाले, पान वाले दुकनदारों की भी बिक्री प्रभावित हुई है.
,, बाजारों में रही मंदी, फुटकर विक्रेताओं की नहीं के बराबर हुई बिक्री
चाय विक्रेता प्रकाश राय ने कहा कि मंगलवार को अधिकांश लोग उनके दुकान पर आये और उधार चाय पीकर गये हैं. ज्यादातर लोगों के पास कैश नहीं थे. इस कारण ग्राहकों की संख्या में बीस फीसदी की कमी आयी है. नवगछिया स्टेशन के पान दुकानदार छोटू कुमार ने कहा कि कुछ लोग उनके दुकान पर आ कर कहते हैं वे खाते पर रकम ट्रांसफर कर सकते हैं लेकिन कैश उनके पास नहीं है.
छोटू का भी कहना है कि बिक्री में कमी आयी है. मंगलवार को नवगछिया के किसी भी एटीएम में कैश नहीं था. ग्रामीण इलाकों बिहपुर, नारायणपुर, खरीक, रंगरा, ढोलबज्जा की भी यही स्थिति थी. दूसरी तरफ विभिन्न बैंकों में भी सुबह दस बजे के बाद लोगों को कैश देना तो शुरू हुआ लेकिन कुछ देर बाद ही बैंक में नो कैश का बोर्ड लग गया. आजद हिंद मोरचा के अध्यक्ष राजद नेता राजेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि यह स्थिति नोटबंदी के कारण उत्पन्न हुई है और इसके लिए केंद्र सरकार जिम्मेदार हैं. दो हजार के नोट पूंजीपतियों और धनाड्य लोगों के पास जमा हो गया है. दूसरी तरफ बाजार में उतना रकम नहीं जितना लोगों की जरूरत है. कैश की अनुपलब्धता के कारण सबसे ज्यादा परेशानी छोटे और गरीब लोगों को होती है.