पटना: युवा राजद के प्रदेश प्रवक्ता सह मीडिया प्रभारी अरूण कुमार यादव ने कहा कि लोकतंत्र और लोकशाही मर्यादित बोल से चलते हैं न कि अमर्यादित बोल से, नीतीश कुमार जी के इशारे पर जिस तरह से जदयू के प्रवक्ताओं द्वारा राजद प्रमुख श्री लालू प्रसाद यादव जी के उपर अमर्यादित तरीके से बयानबाजी कर राजनीतिक मर्यादा को तार-तार किया जा रहा है वह स्वस्थ लोकतंत्र के लिए दुर्भाग्यपूर्ण है।

सृजन घोटाला से लेकर एलईडी बल्ब घोटाला, शौचालय घोटाला, धान घोटाला, बांध घोटाला सहित दर्जनों घोटाला के आरोपों से घिरे नीतीश कुमार और जदयू के लोग अब ये छटपटाहट में कुछ भी बोले जा रहे हैं। वैसे पहले भाजपा-आरएसएस के लोग अमर्यादित भाषा में पीएचडी किये हुए थे लेकिन जदयू जबसे भाजपा के परछाईं में गयी है तब से जदयू के लोग भी अमर्यादित भाषा में पीएचडी कर लिए हैं।

अरुण यादव

श्री यादव ने कहा कि जदयू के प्रवक्ताओं को राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री लालू प्रसाद यादव जी की चिंता छोड़ अपने आका नीतीश कुमार जी का चिंता करें। 2020 में बिहार की सत्ता से बेदखल होने के बाद कुर्सी के तन्हाई में कैसे गुजारेंगे दिन। राजद प्रमुख श्री लालू प्रसाद यादव जी के तरह नीतीश जी जनाधार वाले नेता भी नहीं है कि सत्ता के बगैर भी कोई फर्क नहीं पड़ेगा। जदयू और भाजपा नेताओं को बिहार के विकास की चिंता नहीं है। प्रदेश में हत्या, लूट, बलात्कार, अपहरण, रंगदारी जैसी अपराधिक घटनाओं में बेतहाशा वृद्धि हुई है। लोग अपराधियों के खौफ से जुड़े और सहमे हुए हैं। नीतीश कुमार की सरकार हर मोर्चे पर पूरी तरह विफल साबित हो चुकी है। आने वाले 2019 के लोकसभा चुनाव और 2020 के विधानसभा चुनाव में भाजपा जदयू गठबंधन को प्रदेश की जनता सबक सिखायेगी।