नवगछिया: इस्माइलपुर प्रखंड का 23 हजार रकबा गंगा के बाढ़ की चपेट में है। 15 हजार से अधिक लोग पूरी तरह प्रभावित हैं, इनका जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया है। इसकी भयावहता को देखते हुए एसडीओ मुकेश कुमार ने सीओ को तत्काल लोगों के आवाजाही के लिए नाव की व्यवस्था कराने व प्रभावित परिवारों की रिपोर्ट भेजने का निर्देश दिया है। इधर, दो माह के अंदर दूसरी बार बाढ़ की विभीषिका का सामना कर रहे लोगों को प्रशासनिक पदाधिकारियों की उदासीनता से परेशानियां झेलनी पड़ रही हैं।

अंचल स्तर से सिर्फ बाढ़ को लेकर तैयारी पूरी कर लिए जाने का दावा किया जा रहा है। धरातल पर पीड़ित परिवारों के लिए बचाव के नाम पर सिर्फ 7 नाव की व्यवस्था की गई है। वह भी चलती है या नहीं बाढ़ पीड़ितों में इसको लेकर भी संदेह है। पीड़ितों में काफी रोष है। गांव डूबे चुके हैं, लेकिन अब तक बाढ़ पीड़ितों को कहां सुरक्षित स्थान पर रहना है या जाना है, इसको लेकर शिविर भी निर्धारित नहीं की गई है।

बांधों व सड़कों पर रह रहे बाढ़ पीड़ितों के लिए न तो पेयजल के लिए एक भी चापाकल लगाए गए हैं न ही शौचालय की व्यवस्था अबतक की गई पाई है। पीड़ित दूषित पानी पी रहे हैं। जिला परिषद सदस्य विपिन मंडल ने कहा कि पेयजल, शौचालय, पशु चारे के साथ साथ जगह-जगह स्वास्थ्य शिविर लगाए जाने की आवश्यकता है। इस्माइलपुर सीओ सुरेश प्रसाद ने कहा कि प्रशासन स्तर से तैयारी पूरी है।

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शनिवार को बाढ़ पीड़ितों के बीच पॉलीथिन सीट का वितरण करवाया जाएगा। सूखा राशन वितरण को लेकर भी आपदा विभाग से समीक्षा हुई है। जल्द ही सूखा राशन का वितरण भी करवाया जाएगा। चापाकल व शौचालय के लिए पीएचडी को सूचित कर दिया गया है। पेयजल के लिए चापाकल लगाए जाएंगे।