नवगछिया : गंगा व कोसी नदी के गर्भ में बसे अनुमंडल के सभी प्रखंड में बाढ़ व कटाव को लेकर दहशत का माहौल बना हुआ है। गंगा व कोसी नदी के जल स्तर में वृद्धि होने के साथ ही जहां जगह-जगह कटाव शुरू हो गया है, वहीं दियारा के निचले इलाकों में नदी का पानी पूरी तरह फैल गया है। दियारा में नदियों का पानी फैल जाने से किसानों की फसल डूब गई है।

जलस्तर में वृद्धि सेा बाढ़ का खतरा, दहशत में तटवर्ती गांव के लोग

नदियों के जलस्तर में लगातार वृद्धि होने से तटवर्ती इलाके के लोगों मे दहशत का माहौल है। जलसंसाधन विभाग की रिपोर्ट में गंगा के जलस्तर में एक सप्ताह के अंदर तीन मीटर वृद्धि हुई है। हालांकि अभी नदी डेंजर लेवल से दो मीटर नीचे बह रही है। गंगा नदी वर्तमान में 29.60 मीटर पर बह रही है, जबकि डेंजर लेवल 31.90 मीटर है। वहीं कोसी नदी के जलस्तर में लगातार वृद्धि जारी है। वर्तमान में कोसी नदी खतरे के निशान से तीन मीटर नीचे 30.90 पर बह रही है। जबकि डेंजर लेवल 33 मीटर है।

अफसरों की लापरवाही : रिंग बांध बना गया होता तो नहीं आती बाढ़, वर्ष 2018 में ही विभाग को मिल चुकी थी राशि

नवगछिया| जहजवा धार को बंद करने के लिए ग्रामीणों द्वारा बनाया गया बांध के ध्वस्त जहजवा धार में से पानी इस्माइलपुर के दियारा इलाके में फैलने के बाद इस्माइलपुर के लोगों ने जलसंसाधन विभाग को इसके लिए जिम्मेदार ठहराया है। इस्माइलपुर जिला परिषद सदस्य विपिन मंडल ने कहा कि रिंग बांध के निर्माण को लेकर विभाग को राशि का आवंटन वर्ष 2018 में ही हो गया था। बांध निर्माण के लिए लगभग 28 करोड़ व भूमि अधिग्रहण के लिए लगभग 16 करोड़ की राशि का आवंटन हुआ था। लेकिन विभाग की उदासीनता के कारण राशि के रहते हुए भी कार्य नहीं हो पाया।

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नवगछिया| जहजवा धार को बंद करने के लिए ग्रामीणों द्वारा बनाया गया बांध के ध्वस्त जहजवा धार में से पानी इस्माइलपुर के दियारा इलाके में फैलने के बाद इस्माइलपुर के लोगों ने जलसंसाधन विभाग को इसके लिए जिम्मेदार ठहराया है। इस्माइलपुर जिला परिषद सदस्य विपिन मंडल ने कहा कि रिंग बांध के निर्माण को लेकर विभाग को राशि का आवंटन वर्ष 2018 में ही हो गया था। बांध निर्माण के लिए लगभग 28 करोड़ व भूमि अधिग्रहण के लिए लगभग 16 करोड़ की राशि का आवंटन हुआ था। लेकिन विभाग की उदासीनता के कारण राशि के रहते हुए भी कार्य नहीं हो पाया।