भागलपुर : वाराणसी के समयन अस्पताल में भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता शाहनवाज हुसैन गुरूवार को अलीगंज में हुए एसिड हमले में घायल छात्र से मिले। उन्होंने छात्र की स्थिति देखी और मां-पिता से बात की। श्री हुसैन ने बताया कि वे छात्र के पिता और मां से मिले। इसके बाद घटना की जानकारी ली। उनको छात्र की मां ने पूरी घटना बताई। इसके बाद उन्होंने अस्पताल में छात्र का इलाज कर रहे चिकित्सकों से भी बात की। श्री हुसैन ने कहा कि उन्होंने चिकित्सकों को कहा है कि छात्र को बेहतर से बेहतर इलाज मिले। उसके इलाज में किसी प्रकार की कमी नहीं हो। बता दें कि शाहनवाज गुरूवार को वाराणसी में प्रधानमंत्री के रोड शो में हिस्सा लेने पहुंचे थे। वहां से निकलने के बाद वे छात्र का हाल चाल जानने सीधे अस्पताल पहुंच गए।

छात्र पर एसिड हमले के विरोध में गुरुवार को अधिवक्ता संघर्ष मोर्चा के बैनरतले वकीलों ने कचहरी परिसर में धरना-प्रदर्शन किया। इस मौके पर वकीलों ने कहा कि प्रशासन की लापरवाही के कारण भागलपुर शहर में पहली बार छात्र पर एसिड हमला की घटना हुई। घटना की निंदा करते हुए वकीलों ने पीड़िता को मुफ्त कानूनी मदद करने की बात कही। इस दौरान पीड़िता के जल्द स्वस्थ होने की कामना की। राजीव कुमार झा, मृगेन्द्र कुमार, सृष्टि नाथ झा, सलीम अंसारी, डॉ. अविनाश कुमार, शेखर कुमार, मदन कुमार, अर¨वद कुमार सहाय, मृत्युंजय कुशवाहा, मुकेश कुमार झा, राकेश कुमार झा, पवन कुमार मिश्र, संजीव कुमार झा, मुकेश कुमार मिश्र समेत कई अधिवक्ता इस मौके पर मौजूद थे।

घायल छात्र के कुछ करीबियों से गुरूवार को पुलिस ने पूछताछ की है। पुलिस इस मामले में कुछ ऐसी बातें पता करना चाह रही है पुलिस की जांच को अलग दिशा दे सकती है। वहीं घटना के बाद से इलाके में लगातार पुलिस की गश्ती होती है। छात्र के घर के समीप जहां शाम ढलते ही अड्डेबाजी शुरू हो जाती थी। वहां कोई दिखता नहीं है। बाइक गश्ती शाम के बाद कई बार अलीगंज मोहल्ले में घूमती है। वहीं डीआइजी विकास वैभव के निर्देश पर सुरक्षाकर्मी छात्र के घर पर 24 घंटे तैनात हैं।

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कई संदिग्धों का मोबाइल हो गया है बंद : अलीगंज इलाके के कई संदिग्धों का मोबाइल नंबर घटना के दिन से ही बंद हो गया है। पुलिस ने कुछ प्रिंस और राजा के कुछ करीबियों पर भी नजर रख रही है। उनकी निगरानी में भी पुलिस को कई बातें पता चला है। जो इस मामले में आगे की जांच में जरूरी ¨बदु है। तकनीकी अनुसंधान में अब तक पुलिस को बहुत अधिक सफलता नहीं मिली है। जिन मोबाइल नंबर की जांच की जा रही है। उन नंबरों से घटना के दिन और समय एक दूसरे से कई बार बातचीत हुई है। लेकिन घटना के बाद से मोबाइल बंद है। ऐसे में पुलिस का उन संदिग्धों को लेकर शक और गहरा गया है।

पुलिस के डर से शहर छोड़कर भागे कई संदिग्ध : पुलिस ने जिन संदिग्धों को राडार पर लिया है। वे लोग घटना के बाद से ही इलाका छोड़कर भाग निकले हैं। पुलिस उनके करीबियों पर भी निगरानी रख रही है। दो दिन पहले ऐसी ही सूचना पर सिटी डीएसपी राजवंश सिंह के नेतृत्व में एसआइटी ने छापेमारी की थी।